भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने मंगलवार को कहा कि उत्तर प्रदेश
का बजट राज्य की बढ़ती आर्थिक ताकत को दिखाता है और इसमें प्रस्तावित कदमों से अनुसंधान और
कौशल विकास, महिला सशक्तीकरण और किसानों की प्रगति में मदद मिलेगी।
पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता गोपाल कृष्ण अग्रवाल ने एक बयान में कहा कि पहली बार राज्य का बजट सात
लाख करोड़ के पार चला गया है और उसका राजकोषीय घाटा 3.4 फीसदी है जो स्वीकार्य 3.5 फीसदी की
सीमा के भीतर है।
उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश का सकल घरेलू उत्पाद 25.55 लाख करोड़ रुपये हो गया है और इससे राज्य
को देश के विकास में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाने में मदद मिलेगी।
अग्रवाल ने कहा कि बजट से प्रधानमंत्री के विकसित भारत के संकल्प को साकार करने में मदद मिलेगी
और इससे केंद्रीय बजट की तर्ज पर बुनियादी ढांचा मजबूत होगा।
सांस्कृतिक और धार्मिक स्थलों से जुड़े स्थलों और बुनियादी ढांचों के विकास के लिए विभिन्न प्रस्तावों
का हवाला देते हुए उन्होंने कहा कि यह बजट ”राम राज्य” को समर्पित है और इससे रोजगार के कई
अवसर पैदा होंगे।
उत्तर प्रदेश सरकार ने सोमवार को विधानसभा में वित्त वर्ष 2024-25 के लिये 7.36 लाख करोड़ रुपये का
राज्य का अब तक का सबसे बड़ा बजट पेश किया। मुख्य रूप से बुनियादी ढांचे के विकास, महिलाओं,
युवाओं और किसानों के कल्याण पर केंद्रित इस बजट में छात्रों को टैबलेट/स्मार्ट फोन के वितरण के लिए
4,000 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है।
महाकाव्य रामचरितमानस की चौपाई से विधानसभा में अपने बजट भाषण की शुरुआत करते हुए वित्त
मंत्री सुरेश खन्ना ने कहा कि राज्य सरकार ‘राम राज्य’ की अवधारणा से प्रेरित है।