रायबरेली: प्राइवेट कंपनियों के शोषण के विरोध में उतरे श्रमिक, किया प्रदर्शन

आधुनिक रेल कोच कारखाने में कई बड़ी कंपनियां प्राइवेट के
तौर पर काम कर रही हैं। कंपनियों के द्वारा स्थानीय श्रमिकों का शोषण आम बात है। प्राइवेट कंपनियां
करीब करीब पेटी ठेकेदार और डेली वेजेस श्रमिकों से रेल कोच में डिब्बे बनाने का काम करती हैं। समय
से श्रमिकों का भुगतान न होने से गुरुवार को सैकड़ों श्रमिकों ने विरोध कर लिया। रेल कोच फैक्ट्री के
गेट नंबर तीन पर धरना प्रदर्शन कर दिया।


हालांकि हिंदुस्तान फाइबर कंपनी के मैनेजर मुकेश शर्मा ने सितंबर और अक्टूबर का मानदेय शनिवार को
देने की बात कही है। इसके अलावा 28 फरवरी तक दिसंबर तक का बैलेंस भी देने की बात मानी है।
इसके बावजूद श्रमिक काम पर नहीं लौटे हैं। उन्होंने कहा कि जब शनिवार को भुगतान हो जाएगा तभी
वह काम पर लौटेंगे। श्रमिकों के काम पर न लौटने से निश्चित रूप से रेल कोच का काम प्रभावित हुआ
है।

Related posts

Leave a Comment